रिपोर्टर संजय गुप्ता
आज हल्द्वानी में भाकपा(माले) ने बिन्दुखत्ता में दलित उत्पीड़न की घटना पर कार्यवाही करने के मामले में शासन-प्रशासन के ढुलमुल रवैये और पूरे देश में हलचल मचा देने वाले इस मामले में स्थानीय विधायक की चुप्पी पर रोष व्यक्त किया और सांकेतिक प्रदर्शन कर पीड़ित की शिकायत पर तुरंत कार्यवाही करने की मांग की।
भाकपा(माले) कार्यालय पर शारीरिक दूरियों का पालन करते हुए प्रदर्शन के दौरान भाकपा(माले) के राज्य कमेटी सदस्य कॉमरेड आनन्द सिंह नेगी ने कहा आज जब हम आधुनिक-वैज्ञानिक युग में रह रहे हैं , आज जब इंसान को इंसान माना जाना चाहिए लेकिन समाज पीछे की ओर जा रहा है।
जाति- धर्म की नफ़रतें उफान पर हैं औऱ यह सब भाजपा सरकार-आरएसएस के सत्ता में हावी हो जाने से बढ़ा है। पिछले कुछ वर्षों में धार्मिक भेदभाव तो बढ़ा ही है साथ ही जातिगत भेदभाव भी इतना बढ़ गया है कि कोई सवर्ण महिला खुलकर यह कहने में नही हिचकती कि मैं किसी हरिजन को अपने पड़ोस में नही बसने दूंगी, मेरे इष्ट देव, रिश्तेदार क्या कहेंगे।
इतना कहने के खुले सबूत होने के बावजूद पुलिस प्रशासन ने 9 दिन बाद भी आरोपी महिला को गिरफ्तार नही किया। उल्टा पीड़ित पक्ष पर समझौता करने के लिए दवाब बनाया जा रहा है।
जिससे साफ है कि इतना गंभीर मामला होने के शासन-प्रशासन ढुलमुल रवैया अपना रहा है।
जबकि जनता की मांग उठाने पर राजनीतिक विरोधियों के ऊपर न सिर्फ केस किया जा रहा है बल्कि उन्हें जेल तक डाला जा रहा है।
भाकपा (माले) के विनोद कुमार ने कहा कि पुलिस प्रशासन जान बूझकर मामले को रफा-दफा करने के इरादे में है।
पुलिस के इस ढुलमुल रवैये से पूरे बिन्दुखत्ता में शासन-प्रशासन के खिलाफ भारी आक्रोश है।
स्थानीय विधायक ने भी अभी तक पीड़ित की न तो सुध-बुध ली न ही कोई बयान दिया। आरोपी महिला को तुरंत गिरफ्तार किया जाना चाहिए।
कार्यक्रम में “जाति-धर्म का भेद मिटाओ, देश -समाज को मजबूत बनाओ”, “दलित उत्पीड़न पर रोक लगाओ”, “भाजपा-संघ के राज में, जाति-धर्म की नफरत बढ़ गई समाज मे” आदि नारे लगाए गए और समाज से जाति-धर्म का भेदभाव मिटाने की कोशिश करने की अपील की गई।
इस दौरान ललित मटियाली, किशन बघरी, चंदन राम, नैन सिंह कोरंगा, त्रिलोक राम, विमला रौथाण, सुधा देवी, निर्मला शाही, अजय, हरीश राम, धीरज कुमार, शिव सिंह कोरंगा, पनिराम, गोपाल गड़िया, आशा देवी, कमल जोशी, भाष्कर कापड़ी, आदि लोग मौजूद थे।
