आप बीती खुद की
कालाढूंगी पत्रकार मुस्तज़र फारूकी पर एक बार साले ने किया फिर हमला।
कालाढूंगी वार्ड नम्बर 3 निवासी मुस्तजर फारूकी ने हलद्वानी कोतवाली में तहरीर देकर अपने साले पर मारपीट की तहरीर देकर कार्यवाही की मांग की है। बताते चले कि मुस्तज़र फारूकी का अपनी पत्नी आएशा परवीन के साथ हलद्वानी न्यायालय में तलाक से सम्बंधित मुकदमा चल रहा है फारूकी सोमवार को अपनी तारिक पर हलद्वानी न्यायालय में आया था तभी न्यायालय से निकलकर अपने घर जा रहा था जैसे ही अपनी वाइक बैठकर घर को जा रहा था तभी पीछे से साले ने हमला कर कर दिया और स्कूटी लेकर फरार हो गए। तभी पीछे से फारूकी ने अपनी वाइक दौड़ाकर पीछा कर बरसाती नहर के पास रोक लिया उसके बाद उससे इस बाबत बात की तो तभी उसके और अन्य दो दोस्त भी आ धमके और फारूकी के साथ मारपीट पर आमादा हो गए किसी तरह आसपास के लोगो द्वारा बचाया और फारूकी के गले मे पड़ा प्रेस कार्ड भी उन लोगों ने छीनकर नहर में फेंक दिया फारूकी के साथ इससे पूर्व भी दोनो साले मारपीट कर चुके है। जिसकी तहरीर बनभूलपुरा हल्द्वानी थाने में देकर हल्द्वानी निवासी अपने ससुरालियों पर मानसिक शोषण व जान से मारने की धमकी देने का आरोप लगाया था। पेशे से पत्रकार फारूकी ने थाने में दी तहरीर में कहा था पत्रकारिता व अन्य कार्य से उनका हल्द्वानी आना जाना लगा रहता है। ताज मस्जिद हल्द्वानी के निकट उनकी ससुराल है। इस समय उनका अपनी पत्नी के साथ मनमुटाव चल रहा है जिस कारण मामला न्यायालय में विचाराधीन है। इस लिए उनकी पत्नी के भाई मो, नदीम, मो, हकीम पुत्रगण ताबिबुल हसन उर्फ भूरा उनके ऊपर पत्नी को तलाक देने का दबाव बनाते हैं तथा जान से मारने की धमकी भी देते हैं। पूर्व में इससे पहले भी दोनो साले व ससुर ने मुस्तज़र फारूकी को घेर कर मारपीट कर घायल कर दिया था जिनकी पीड़ित ने एस एसपी व थाने में तहरीर देकर अपने दो सालों व ससुर के खिलाफ मारपीट की तहरीर देकर मुकदमा दर्ज कराने की मांग की थी। लाइन नबर 17 आजाद नगर ताज मस्जिद के निकट रहने वाले ताविबुल हसन उर्फ बुरा पुत्र नदीम व हकीम ने अपने जीजा मुस्तज़र फारूकी को घेरा बंदी कर मारपीट करते हुए अपनी बहन को तलाक की बात कहने लगे इस पर जब कालाढूंगी निवसी मुस्तज़र फारूकी ने विरोध किया तो उसके साथ दोनो सालों व ससुर ने मारपीट करदी। इतना ही नहीं सालों द्वारा तीसरी बार भी फारूकी पर हमला करते हुए मारपीट व जान से मारने की धमकी दी गई। फारूकी द्वारा बताया गया कि उनके द्वारा अपने सालों के डर से इस घटना तहरीर भी डांक के माध्यम से एसएसपी नैनीताल को भेजी गई है। सूत्रों से ज्ञात हुआ इससे पूर्व में भी इस तरह ताविबुल हसन उर्फ भूरा अपनी दो पुत्रीयो को तलाक दिला चुके है हा अब ये तीसरा मामला प्रकाश में आया है बताया जा रहा कि यह लोग अपनी पुत्रियों को तलाक दिलाकर दामादों से पैसे बसूली करते है फारुकी ने कोतवाली में रिपोर्ट देकर कार्रवाई की मांग की थी तहरीर मिलने के बाद अब पुलिस कार्यवाह में जुट गई है फारूकी ने दूसरी बार इस संबंध में उक्त आरोप लगाते हुए एसएसपी को तहरीर देकर कार्यवाही की मांग की है अपनी जान माल की सुरक्षा के लिए भी एसएसपी को पूरे घटनाक्रम मामले से अवगत कराया फारूकी ने उक्त आरोपीयो पर कड़ी कार्यवाही किये जाने की मांग की है अगर उनके विरुद्ध
कोई कार्यवाही नही की गई तो छेत्र की जनता व पत्रकार यूनियन को साथ लेकर नैनीताल मुख्यालय में धरना प्रदर्शन किया जयेगा। बेइज्जती के डर से छुपाया मामला।
कालाढूंगी। पत्रकार मुस्तजर फारूकी ने कहा है। उनकी और उनकी पत्नी के बीच अनबन का मामला ही कुछ अलग है। जिसको उन्होंने अपने व अपने परिवार की इज्जत की वजह से नहीं खोला। लेकिन अब ससुराल वालों द्वारा उनको आये दिन बेवजह परेशान किये जाने से वह इस मामले को उजागर करने के लिए मजबूर हैं। उन्होंने बताया कि दिनांक 31 मार्च को जब उनकी बहन का विवाह हुआ तो सभी लोग विवाह कार्यक्रम में व्यस्त थे तभी से उनकी पत्नी आएशा परवीन रात्रि को घर से कहीं चली गयी। वह और उनके परिजन परेशान हो गए। पत्नी की खोजबीन की तो सूत्रों से ज्ञात हुआ कि वह अपने हल्द्वानी निवासी एक मित्र आमिर के साथ चली गयी है। उनके द्वारा बताया गया कि उन्होंने इस बात को आजतक बेइज्जती के डर से छुपाए रखा। बताया गया कि उनके ससुर चावल के कारोबारी हैं और सम्पन्न परिवार है इस लिए वह आये दिन फारूकी पर हमला व मारपीट करने पर उतारू हैं। मामले की जानकारी लेने पत्नी के घर पहुंचे फारूकी के परिजनों को बताया कि वह घर नहीं आयी है। बताया जा रहा है कि वह कई दिन बाद अपने घर लौटी तब फारूकी के परिजनों को पता चलने पर वह उन्हें लेने पहुंचे तो उसके परिजनों से पत्नी को भेजने से साफ इनकार कर दिया। उसके कुछ दिन बाद महिला समाधान केंद्र से उन्हें तलाक देने संबन्धी नोटिस प्राप्त हुआ। फारूकी ने बताया कि आएशा उनके घर में अच्छे से रही उसे वार्ड नम्बर 3 में रहकर वार्ड नम्बर 4 से उसे नगर पंचायत से सभासद का चुनाव लड़ाकर जितवाया। सभासद होने की वजह से फारूकी व उनके परिजनों ने आजतक यह मामला छुपाये रखा।