रिपोर्टर अतुल अग्रवाल

किदवई नगर में मिली कोरोना संक्रमित महिला बेस हॉस्पिटल में भी हुई संक्रमित डॉ उषा
हल्द्वानी :- में किदवई नगर क्षेत्र में कोरोना संक्रमित पाई गई महिला के पति के द्वारा बताया गया कि उसकी पत्नी महिला बेस चिकित्सालय में अपने इलाज हेतु गई थी जिसके बाद महिला बेस चिकित्सालय में सेनिटाइजर किये जाने के कारण महिला पेशेंट को सुशीला तिवारी हॉस्पिटल रेफर किया गया है सुशीला तिवारी हॉस्पिटल में संक्रमित महिला के द्वारा एक नवजात शिशु को जन्म दिया गया महिला के पति का कहना है कि महिला की रिपोर्ट पॉजिटिव आने के बाद बहुत बड़ी गंभीर समस्या उत्पन्न हो गई है जिसको लेकर हमने आज महिला बेस चिकित्सालय की डॉक्टर उषा से बात की थी डॉ उषा का कहना है कि महिला मरीज 6 जुलाई को हॉस्पिटल आई थी जिनका मेडिकल चेक अप करने के बाद 8 मार्च को रिपोर्ट नेगेटिव प्राप्त हुई थी लेकिन महिला इसके पश्चात 8 या 10 दिन के बाद वही महिला सुशीला तिवारी हॉस्पिटल गई हैं वहीं डॉ उषा के द्वारा बताया गया कि संक्रमित रिपोर्ट आने के बाद पॉजिटिव रिपोर्ट आने की संभावनाएं अत्याधिक होती है वहीं डॉ उषा का कहना है कि हम यह नहीं कह सकते कि वह महिला हॉस्पिटल बाजार क्षेत्र से अपने घर से या घर के आसपास क्षेत्र से संक्रमित हहुई हैं वहीं डॉ उषा कहना है कि जब हमारे द्वारा महिला को रेफर किया गया उस वक्त महिला की रिपोर्ट नेगेटिव थी सुशीला तिवारी हॉस्पिटल पहुंचने के बाद यदि रिपोर्ट पॉजिटिव आती है तो ऐसे मरीजों की रिपोर्ट पॉजिटिव आना संभावना अत्याधिक रहती है कहां से हुआ है यह एक बहुत बड़ा सवाल है संक्रमण तो कहीं से भी किसी भी व्यक्ति से हो सकता है आज की तारीख में कोरोना संक्रमण काफी हद तक फैल चुका है डॉक्टर उषा का कहना है कि हमारे द्वारा सुरक्षा गार्ड एवं सभी स्टाफ से यही कहा गया है कि जो भी व्यक्ति हॉस्पिटल में आता है आप उसे कोरोना पॉजिटिव ही माने हम सभी से अपील करते हैं फेस मास्क अवश्य पहने उचित दूरी बनाए रखें हाथों को सेनेटाइज करें सुरक्षा की दृष्टि से यह भी देखना होगा कि जो व्यक्ति आज नेगेटिव है वह पॉजिटिव भी निकल सकता है
डॉ उषा द्वारा बताया गया कि जो भी सैंपल लिए जाते हैं उसकी रिपोर्ट तत्काल नहीं मिलती है कम से कम 2 या 3 दिन के बाद रिपोर्ट प्राप्त होती है तभी ज्ञात होता है कि व्यक्ति नेगेटिव है या पॉजिटिव डॉ उषा से सवाल पूछे जाने पर क्या जो आशा कार्यकर्ती हॉस्पिटल में अपनी सेवाएं देती हैं उनका नियमित मेडिकल चेकअप कराया जाता है इस पर डॉक्टर ने बताया कि यदि कोई व्यक्ति संक्रमित पाया जाता है जो भी आशा कार्यकर्ती ऐसे पेशेंट को लेकर आती है उसका तत्काल मेडिकल चेकअप करवा आइसोलेशन में भेज दिया जाता है डॉ द्वारा बताया गया कि अभी हाल में ही आशा कार्यकर्ती संक्रमित होने की संभावना दिखाई दी जिनको 14 दिनों के लिए होम कोरन टाइन किया गया था जांच करवाते रहते हैं यदि कोई आशा कार्यकर्ती संक्रमित होने की संभावना में दिखाई देती है तो उनको होम कोरनटाइम किया जाता है साथ ही हिदायत दी जाती है कि वह घर में अपना काम जैसे खाना अन्य कार्य स्वयं करेंगे 14 दिन के बाद दोबारा मेडिकल चेकअप कराने के बाद यदि संक्रमित पाई जाती हैं तो उसको सुशीला तिवारी हॉस्पिटल में इलाज हेतु भेजा जाता है डॉ के द्वारा बताया गया कि हमारे महिला चिकित्सालय में 20 बेड बिल्कुल अलग आइसोलेशन तौर पर पूर्ण तैयारी के साथ रखे गए हैं यदि कोई पेशेंट पाजेटिव पाया जाता है या संभावित होता है ऐसे मरीजों को हम अलग आइसोलेशन वार्ड में रखते हैं सुरक्षा की दृष्टि से सरकारी गाइडलाइन का पालन किया जा रहा है साथ ही जो मरीज के तीमारदार आते हैं उनको भी दी जाती है कि आप अधिक संख्या में अस्पताल न पहुंचे आशा कार्यकर्ताओं को केवल मरीज को लेकर आने की जिम्मेदारी सौंपी गई है आशा कार्यकर्ति मरीजों को हॉस्पिटल छोड़ने के बाद घर वापस भेज दिया जाता है|
